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रियाद में यौन गुलाम की मुक्ति से भारत में तस्करों के व्‍यापक जाल का खुलासा

by Roli Srivastava | @Rolionaroll | Thomson Reuters Foundation
Monday, 20 March 2017 12:21 GMT

Buildings are seen in Riyadh, Saudi Arabia, March 1, 2017. REUTERS/Faisal Al Nasser

Image Caption and Rights Information

-    रोली श्रीवास्तव

    मुंबई, 20 मार्च (थॉमसन रॉयटर्स फाउंडेशन) - सऊदी अरब में यौन गुलामी से मुक्‍त कराई गयी एक भारतीय महिला को रविवार को गुजरात में उसके गांव वापस लाया गया था। इस घटना से भारत के अन्‍य नए हिस्सों में भी तस्‍करों का जाल फैलने की आशंका बढ़ी है।

    अधिकारियों ने कहा कि दो एजेंटों- एक को गुजरात में और दूसरे को मुंबई में गिरफ्तार किया गया है और अन्‍य एजेंटों की तलाश की जा रही है।

    35 वर्षीय महिला घरेलू नौकरानी के काम और लगभग 40,000 रुपये के मासिक वेतन के वादे पर एक वर्ष पहले दुबई गई थी।

     राज्‍य के एक मंत्री ने कहा कि लेकिन उसे सऊदी अरब की राजधानी रियाद में एक अन्‍य नियोक्ता को बेच दिया गया था, जहां उसके साथ बार-बार दुष्‍कर्म और शोषण किया गया था। वर्तमान में उसका पश्चिमी राज्य गुजरात के एक सरकारी अस्पताल में इलाज चल रहा है।

    अभियान चलाने वालों का कहना है कि अब तक खाड़ी क्षेत्र में तस्करी के ज्यादातर मामले दक्षिण भारतीय राज्य आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, तमिलनाडु और केरल से हैं और देश के अन्य हिस्सों से बहुत ही कम ऐसे मामले सामने आये हैं।

      गुजरात के शिक्षा मंत्री भूपेंद्रसिंह चुडसमा ने थॉमसन रॉयटर्स फाउंडेशन को बताया, "यह माना जाता है कि खाड़ी में तस्करी के ज्यादातर मामले दक्षिणी राज्यों से हैं। हम गिरफ्तार किये गये लोगों से गुजरात के और एजेंटों के नाम जानने की कोशिश कर रहे हैं।"

      "पुलिस ने व्‍यापक जांच शुरू की है। अगर हमें उनके तार अन्‍य राज्‍यें से जुड़े पाये गये तो हम उन राज्यों को भी सतर्क करेंगे।"

      द टाइम्स ऑफ इंडिया अख़बार में महिला की दुर्दशा के बारे में पढ़ने पर चुडसमा ने सरकारी अधिकारियों और पुलिस को इस मामले के बारे में सतर्क किया था।

      गुजरात और मुंबई की पुलिस टीमों ने उन एजेंटों को धर दबोचा, जिन्होंने महिला को दुबई में अच्‍छी नौकरी दिलाने का झांसा दिया था, जबकि सऊदी अरब में व्यापार करने वाले एक भारतीय राजनीतिज्ञ- थोपली श्रीनिवास ने वहां के भारतीय दूतावास से संपर्क किया था।

      एक महीने से भी कम समय में उन्‍होंने गुजरात की इस दूसरी महिला की उसके घर लौटने में मदद की थी।

     कार्यकर्ताओं का कहना है कि छह खाड़ी देशों बहरीन, कुवैत, कतर, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात और ओमान में लगभग 60 लाख भारतीय प्रवासी हैं और वहां घरेलू नौकरों का सबसे ज्यादा शोषण होता है।   

     श्रीनिवास ने कहा, "घरेलू नौकरों के साथ यहां मवेशियों जैसा व्‍यवहार किया जाता है। जब मैंने उस महिला से उसके स्थान के बारे में पूछा तो वह यह भी नहीं बता पाई थी। वह लगातार रो रही थी और बचाने की गुहार लगा रही थी। भारत सरकार को खाड़ी देशों में घरेलू नौकर भेजने पर रोक लगानी चाहिए।"

    महिला के गृहनगर ढोलका में अधिकारियों ने इसे मानव तस्करी का पहला मामला बताया है।

    ढोलका जिले के उप जिलाधीश रितुराज देसाई ने कहा, "हमें जानकारी मिली है कि हो सकता है खाड़ी देशों में और महिलाओं की तस्करी की गई हो। यह हमारे लिए एक नयी जानकारी है।"   

(रिपोर्टिंग- रोली श्रीवास्‍तव, संपादन- रोस रसल; कृपया थॉमसन रॉयटर्स की धर्मार्थ शाखा, थॉमसन रॉयटर्स फाउंडेशन को श्रेय दें, जो मानवीय समाचार, महिलाओं के अधिकार, तस्करी, भ्रष्टाचार और जलवायु परिवर्तन को कवर करती है। देखें news.trust.org)

 

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